किसानों और छात्रों में विरोध
सडक़ों पर वाहनों की सुविधा के लिए रोक का निर्णय
चित्रदुर्ग. शहर की बीडी रोड पर परिवहन निगम की बसों के संचालन को स्थगित करने का प्रस्ताव, शहर में वाहन परिवहन सुगम बनाने के उद्देश्य से पुलिस की ओर से सुझाया गया है परन्तु इस प्रस्ताव का किसानों और छात्रों ने विरोध करते हुए इसे अवैज्ञानिक कदम बताया और कहा कि यातायात बाधित नहीं होना चाहिए।
सडक़ सुरक्षा समिति की बैठक में जिलाधिकारी कार्यालय में वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक रंजीत कुमार बंडारू ने बीडी रोड पर बस संचालन को रोकने का सुझाव प्रस्तुत किया।
उन्होंने कहा कि गांधी सर्कल, सर्किट हाउस, मदकरी सर्कल और चल्लकेरे सर्कल में ट्रैफिक प्रबंधन के लिए यह कदम आवश्यक है। जिलाधिकारी टी. वेंकटेश ने इस पर सहमति जताई और केएसआरटीसी अधिकारियों को जल्द आदेश जारी करने के निर्देश दिए।
बैठक में वाहन चालकों के लिए वैकल्पिक मार्ग सुझाया गया। शहर में प्रवेश करने वाले वाहन अब चल्लकेरे गेट के माध्यम से पुरानी राष्ट्रीय राजमार्ग सेवा सडक़, मुरुघा मठ, दावणगेरे रेलवे गेट से बस स्टैंड तक जाएंगे।
केएसआरटीसी अधिकारियों ने विरोध जताया कि यह कदम पहले भी दो साल पहले लागू किया गया था, परन्तु सार्वजनिक विरोध के कारण रोक दिया गया।
चल्लकेरे गेट से बस स्टैंड तक मार्ग में 10 से अधिक कॉलेज स्थित हैं। ग्रामीण क्षेत्रों से आने वाले छात्र कॉलेज सर्कल में बस से उतरते हैं। यदि बस सेवा बंद होती है तो उन्हें ऑटो रिक्शा या पैदल यात्रा करनी पड़ेगी। जिले का मुख्य अस्पताल भी इसी मार्ग पर स्थित है।
किसानों के लिए यह मार्ग महत्वपूर्ण है क्योंकि वे अपने उत्पाद गांधी सर्कल के आसपास बाजारों में बेचते हैं। बसों के संचालन में बदलाव से रोगियों और किसानों को असुविधा होगी और ऑटो रिक्शा सेवाओं पर अतिरिक्त खर्च आएगा।
निजी बस मालिकों का दबाव
पुलिस के अनुसार, निजी बसों का संचालन पहले ही बीडी रोड पर प्रतिबंधित है, और वे चाहते हैं कि परिवहन निगम की बसें भी रोकी जाएं।
स्थानीय लोग आरोप लगा रहे हैं कि पुलिस निजी बस मालिकों के दबाव में कार्रवाई कर रही है।
किसान नेता धानंजय ने चेतावनी दी कि यदि बस संचालन रोका गया तो छात्र और ग्रामीण विरोध करेंगे।
वैकल्पिक मार्ग की चुनौतियां
यदि बीडी रोड पर बसें नहीं चलतीं तो शिवमोग्गा होललकेरे जाने वाली बसें दावणगेरे रेलवे गेट पार कर चलेंगी, जिससे समय की हानि और 5-6 किलोमीटर अतिरिक्त दूरी तय करनी पड़ेगी।
केएसआरटीसी अधिकारियों ने बताया कि इस सुझाव पर वरिष्ठ अधिकारियों के साथ चर्चा कर अंतिम निर्णय लिया जाएगा।
