बेलगावी. सीमा क्षेत्र बेलगावी में महाराष्ट्र एकीकरण समिति (एमईएस) का उत्पात लगातार जारी है। उनके इस उत्पात को रोकने के लिए कन्नड़ समर्थक संगठन लगातार संघर्षरत हैं। एमईएस की गतिविधियों पर अंकुश लगाने और कन्नड़ भाषा को मजबूती देने के उद्देश्य से कई संगठन उभरे हैं परन्तु अब एमईएस ने फिर से कन्नड़ अनिवार्यता को वापस लेने की मांग उठाई है।
राज्य सरकार की ओर से सरकारी कार्यालयों में कन्नड़ को अनिवार्य रूप से लागू किया गया है। इसी को लेकर एमईएस के सदस्यों ने मंगलवार को बेलगावी के महापौर मंगेश पवार से मुलाकात कर कन्नड़ अनिवार्यता को वापस लेने की मांग की है।
बेलगावी में एमईएस की
इस उग्रता के उत्पात रोकने के लिए कित्तूर कर्नाटक सेना ने सशक्त कदम उठाया है। संगठन के नेता महादेव तळवार के नेतृत्व में जिलाधिकारी, महानगर निगम आयुक्त, पुलिस आयुक्त, महापौर और उपमहापौर को ज्ञापन सौंपा है।
कित्तूर कर्नाटक सेना के महादेव तळवार ने कहा कि बेलगावी महानगर निगम में कन्नड़ का अच्छा क्रियान्वयन हो रहा है। महापौर और उपमहापौर की गाडिय़ों पर पूरी तरह कन्नड़ में नंबर प्लेट और नेमबोर्ड लगाए गए हैं, जो गर्व की बात है।
2022 की सरकार की अधिसूचना के अनुसार, जिला प्रशासन और महानगर निगम सहित सभी सरकारी कार्यालयों में कन्नड़ अनिवार्य रूप से लागू किया गया है परन्तु एमईएस इस व्यवस्था में बाधा डाल रही है। हाल ही में महापौर मंगेश पवार की गाड़ी पर कन्नड़ बोर्ड और अंक लगाए जाने के कारण एमईएस प्रतिनिधियों ने उनसे मिलकर इसका विरोध जताया और कन्नड़ अनिवार्यता को वापस लेने की मांग की है।
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स पर प्रतिक्रिया देते हुए कित्तूर कर्नाटक सेना के पदाधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि “कन्नड़ ही हमारी भूमि और भाषा है। इसे वापस लेने का किसी को अधिकार नहीं है।”