हुब्बल्ली-धारवाड़ जुड़वां शहरों को मिले 10 नए मेमू रेलदिल्ली में केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से मुलाकात करते हुए केंद्रीय मंत्री एवं धारवाड़ सांसद प्रल्हाद जोशी।

हुब्बल्ली. कर्नाटक की वाणिज्यिक राजधानी और उत्तर कर्नाटक का प्रवेश द्वार माने जाने वाले हुब्बल्ली में एक खुशखबरी सामने आई है। हुब्बल्ली-धारवाड़ जुड़वां शहरों में हर दिन आसपास के जिलों और गांवों से हजारों लोग आते हैं। इन यात्रियों के लिए अब एक अच्छी खबर है।

इस संबंध में केंद्रीय मंत्री एवं धारवाड़ सांसद प्रल्हाद जोशी ने सोशल मीडिया पर जानकारी साझा की है। केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से मुलाकात के बाद उन्होंने इस विषय पर विस्तार से जानकारी दी।

10 मेमू ट्रेनों की मांग

प्रल्हाद जोशी ने बताया कि आज उन्होंने नई दिल्ली में केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव और रेल राज्य मंत्री वी. सोमन्ना के साथ मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने हुब्बल्ली रेलवे स्टेशन को अंतरराष्ट्रीय स्तर का बनाने, गदग रोड पर स्थित मौजूदा दो लेन रेलवे पुल को चार लेन में विस्तारित करने के लिए नया रेलवे ब्रिज बनाने और आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों से हुब्बल्ली की यात्रा करने वाले यात्रियों के लिए 10 नई मेमू ट्रेनों को शुरू करने का अनुरोध किया।

इसके अलावा, उन्होंने हुब्बल्ली में आधार सेवा केंद्र स्थापित करने और उसे संचालित करने के लिए सेवा प्रदाताओं की नियुक्ति के लिए प्रस्ताव (आरएफपी) को आगे बढ़ाने की भी मांग की।

उत्तर कर्नाटक की वाणिज्यिक राजधानी हुब्बल्ली की जनसंख्या लगभग 10 लाख है। इसलिए आधार सेवा केंद्र की यहां विशेष आवश्यकता है। उन्होंने देशभर में जिलों और प्रमुख शहरों में ऐसे केंद्रों की स्थापना की मांग की। केंद्रीय मंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि जिलों के साथ-साथ हुब्बल्ली और अन्य प्रमुख शहरों में भी इन केंद्रों के लिए टेंडर प्रक्रिया शुरू की जाए।

प्रल्हाद जोशी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव और रेल राज्य मंत्री वी. सोमन्ना को उत्तर कर्नाटक की जनता की ओर से धन्यवाद दिया और कहा कि वे इस क्षेत्र से संबंधित हर रेल परियोजना को सकारात्मक रूप से स्वीकार कर रहे हैं।

दक्षिण-पश्चिम रेलवे का मुख्यालय

हुब्बल्ली उत्तर कर्नाटक का एक प्रमुख शहर है और दक्षिण-पश्चिम रेलवे जोन का मुख्यालय भी यहीं स्थित है। यहां से बेंगलूरु और मुंबई-कर्नाटक क्षेत्र की ओर बड़ी संख्या में यात्री यात्रा करते हैं। हुब्बल्ली रेलवे स्टेशन में देश का सबसे लंबा प्लेटफॉर्म भी है।
वर्तमान में हुब्बल्ली-बेंगलूरु के बीच वंदे भारत एक्सप्रेस और जनशताब्दी जैसी कई ट्रेनें चल रही हैं परन्तु आसपास के जिलों, कस्बों और गांवों से हुब्बल्ली-धारवाड़ आने-जाने वालों की दैनिक आवश्यकता को देखते हुए 10 मेमू ट्रेनों की मांग की गई है।

मेमू ट्रेनें क्यों जरूरी हैं?

8 कोच वाली इन इलेक्ट्रिक इंजनों वाली मेमू ट्रेनें जिलों को आपस में जोडऩे में मददगार होती हैं। ये ट्रेनें कम किराए पर चलती हैं और नौकरी, व्यापार या शिक्षा के लिए यात्रा करने वालों के लिए बेहद सुविधाजनक होंगी।

जैसे बेंगलूरु से कोलार, चिक्कबल्लापुर, मैसूरु, तुमकूरु आदि क्षेत्रों में मेमू ट्रेनें उपलब्ध हैं, उसी तरह हुब्बल्ली-धारवाड़ क्षेत्र में भी ऐसी ट्रेनों की मांग की गई है।

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