भूमि अधिग्रहण की धीमी गति से लोगों में फैला असंतोषभूमि अधिग्रहण की धीमी गति से लोगों में फैला असंतोष

बेलगावी की शेष 5 नई रेलवे परियोजनाएं कब पूरी होंगी?
एक दशक बाद भी बागलकोट-कुडची रेलवे लाइन का काम अधूरा
धारवाड़-कित्तूर-बेलगावी मार्ग का भूमि अधिग्रहण बना समस्या
प्रस्तावित रेलवे लाइनों के निर्माण में और कितने वर्ष लगेंगे?
बेलगावी. एक ओर जहां सीमावर्ती जिले बेलगावी में छह नई रेलवे लाइनों के तेजी से निर्माण की जनता की मांग बढ़ रही है, वहीं दूसरी ओर पहले से स्वीकृत महत्वाकांक्षी परियोजना के लिए भूमि अधिग्रहण की धीमी गति से असंतोष फैला है।
बेलगावी-कित्तूर-धारवाड़, कुडची-बागलकोट, बेलगावी-कोल्हापुर, बेलगावी-सावंतवाड़ी, लोकापुर-रामदुर्ग-सवदत्ती-धारवाड़ और शेडबाल-अथणी-विजयपुर मार्ग परियोजनाओं के जरिए जिले में रेल सुविधाओं के विस्तार की मांग दशकों से संबंधित क्षेत्रों के लोग उठाते रहे हैं।
28 चीनी कारखानों, बड़े औद्योगिक क्षेत्रों, पर्यटक आकर्षणों और प्रसिद्ध मंदिरों वाला सीमावर्ती जिला बेलगावी, कर्नाटक-गोवा-महाराष्ट्र राज्यों को जोड़ता है। प्रतिदिन लाखों लोग रेलगाड़ी से यात्रा करते हैं। निकटवर्ती शहरों से सम्पर्क जितना आसान होगा, जिले का उद्योग और पर्यटन उतना ही बेहतर विकसित होगा। रोजगार के अवसर पैदा होंगे। इसके चलते लोग प्रस्तावित परियोजना कब क्रियान्वित होगी, इसका इंतजार कर रहे हैं।

पांच साल हो गए

इस क्षेत्र के लोगों का आरोप है कि लगातार आंदोलनों के बावजूद, प्रस्तावित परियोजनाओं के लिए आवश्यक भूमि उपलब्ध कराने में राज्य सरकार की ओर से लापरवाही और जनप्रतिनिधियों की इच्छाशक्ति की कमी के कारण महत्वाकांक्षी परियोजनाएं साकार होने का कोई संकेत नहीं मिल रहा है। रेलवे विभाग की ओर से बेलगावी-कित्तूर-धारवाड़ मार्ग परियोजना को मंजूरी दिए हुए पांच वर्ष हो गए हैं परन्तु बेलगावी जिले में भूमि अधिग्रहण प्रक्रिया में देरी से काम शुरू होने में बाधा आ रही है। विशेषकर यूपीए सरकार के दौरान ही शेडबाल-अथणी-विजयपुर मार्ग परियोजना बनाई गई और इसके लिए 2010-11 के बजट में भी प्रस्तावित किया गया था परन्तु एक दशक बाद भी इस परियोजना पर से ग्रहण नहीं छूटा है। भाजपा नेतृत्व की सरकार के दौरान अधिकारियों ने इस परियोजना के प्रति लापरवाही बरती है।

भूमि अधिग्रहण में देरी
2019 में मंजूर बेलगावी-धारवाड़ के बीच 73 किलोमीटर लंबी परियोजना के लिए रेलवे बोर्ड की ओर से 823 करोड़ रुपए का अनुदान प्रदान किया गया है परन्तु भूमि अधिग्रहण संबंधी समस्याओं के कारण काम में देरी हुई है और अब काम की लागत बढऩे की संभावना अधिक है।
रेलवे विभाग के अधिकारियों ने बताया कि धारवाड़ और बेलगावी जिलाधिकारियों ने मार्च के अंत तक लंबित भूमि अधिग्रहण पूरा करने का वादा किया है। सब कुछ योजना के अनुसार हुआ तो अप्रेल 2025 के बाद काम शुरू होने की उम्मीद है। इस परियोजना के अगले चरण में बेलगावी-कोल्हापुर मार्ग के लिए परियोजना सर्वेक्षण को मंजूरी मिल गई है। इसके अलावा बेलगावी-सावंतवाड़ी मार्ग के लिए परियोजना सर्वेक्षण प्रगति पर है।

2010 में मंजूरी
गोवा बंदरगाह और मुंबई शहर को जोडऩे वाले 142 किलोमीटर लंबे बागलकोट-कुडची मार्ग के लिए 986 करोड़ रुपए की परियोजना 2010 में मंजूरी मिली है। यह कार्य 1,530 करोड़ रुपए के अनुदान से किया जा रहा है और बागलकोट से लोकापुर तक का कार्य पहले ही पूरा हो चुका है।
विभाग ने उस क्षेत्र के उद्योगों के लाभ के लिए मालगाड़ी यातायात को हरी झंडी दे दी है परन्तु लोकापुर से यादवाड, जमखंडी, हारुगेरी और कुडची तक के चार पैकेजों के कार्य के लिए निविदा प्रक्रिया अभी तक पूरी नहीं हुई है।

सर्वेक्षण रिपोर्ट से समस्या
लोकापुर-रामदुर्ग-सवदत्ती-धारवाड़ रेल मार्ग से जिले में धार्मिक पर्यटन को नई गति मिलने की उम्मीद है। 97 किमी, 109 किमी और 137 किमी इस प्रकार 2019 में ही तीन चरणों में सर्वेक्षण किया गया था। प्रस्तावित रेल मार्ग पर यातायात की कमी के कारण यह परियोजना आर्थिक रूप से व्यवहार्य नहीं है कहकर दी गई रिपोर्ट के बाद इस परियोजना को स्थगित कर दिया गया।
सांसद जगदीश शेट्टर ने हाल ही में रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से मुलाकात कर अनुरोध किया है कि सवदत्ती रेणुका यल्लम्मा देवी मंदिर में 2022-23 में 1.73 करोड़ श्रद्धालुओं ने दर्शन किया था। इसके चलते यात्रियों की कोई कमी नहीं होगी। दोबारा सर्वे कराकर परियोजना को मंजूरी देनी चाहिए।

प्रयास करे जनप्रतिनिधि
बेलगावी-कित्तूर-धारवाड़ और बागलकोट-कुडची मार्ग परियोजनाएं शीघ्र पूरी होने से जिले के विकास को गति मिलेगी। इसके साथ ही जनप्रतिनिधियों को बेलगावी-सावंतवाड़ी और बेलगावी-कोल्हापुर मार्ग परियोजनाओं के लिए सरकार की मंजूरी प्राप्त करने के लिए कड़ी मेहनत करनी चाहिए।
गजेंद्र पाटिल, सदस्य, बेलगावी विकास फोरम

2025 के अंत तक काम पूरा
बागलकोट-कुडची रेलवे लाइन का कार्य प्रगति पर है। 2025 के अंत तक काम पूरा करने और ट्रेन सेवाएं शुरू करने के लिए कदम उठाए जाएंगे।
-इरन्ना कडाडी, राज्यसभा सदस्य, बेलगावी

पुन: सर्वेक्षण कराने का किया वादा
अधिकारियों को धारवाड़ को कित्तूर से जोडऩे वाले क्षेत्र में शेष 5 से 10 प्रतिशत भूमि अधिग्रहण प्रक्रिया पूरी करने के निर्देश दिए गए हैं। इसी प्रकार, रेल मंत्री ने हमारे अनुरोध पर प्रतिक्रिया देते हुए लोकापुर-सवदत्ती-धारवाड़ परियोजना का पुन: सर्वेक्षण कराने का वादा किया है।
जगदीश शेट्टर, सांसद, बेलगावी

Spread the love

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *