फाइनेंस कंपनी ने मकान को लगाया तालाकुंदगोल तालुक के हिरेनेर्ती गांव में हाल ही में माइक्रोफाइनेंस के कारण घर के दरवाजे को लगा ताला।

गांव छोडक़र गए लोग

हुब्बल्ली. कुंदगोल तालुक के हिरेनेर्ती गांव में हाल ही में माइक्रोफाइनेंस की भरमार के कारण घर के दरवाजे को ताला लगाकर परिवार के सदस्यों को घर से बाहर निकालने की घटना घटी है।

गांव के मौलासाब बुकटगार ने एक निजी वित्तीय संस्थान से लगभग 20 लाख रुपए का ऋण लिया था और कानूनी कार्रवाई के तहत उनका घर सीज किया गया है।

मौलासब की मां माबूबबी मम्मुसाब बुकटगार ने आंसू बहाते हुए कहा कि हमारा घर को ताला जड़ा है इसके चलते हमारे बच्चों ने बहुएं और पोते-पोतियों को लेकर शहर छोडक़र चले गए हैं। मैं किसी और के घर खाना खा रही हूं और फर्श पर सो रही हूं। अगर हमें समय देकर हमारे घर का दरवाजा खोल दें, तो पूरा परिवार काम करके कर्ज चुकाएगा।

कर्नाटक रक्षणा वेदिके (करवे) तालुक इकाई के अध्यक्ष कल्लप्पा हरकुणी ने कहा कि इस तरह की घटनाएं तालुक में हो रही हैं और निजी बैंकों का खतरा बढ़ गया है। सबसे पहले वे महिलाओं का एक समूह इक_ा करते हैं और उन्हें ऋण देते हैं। केवल आधार कार्ड और फोटो है तो यह पर्याप्त है कहकर वे अपने मानक से अधिक उधार देते हैं। इससे ऊंची ब्याज दर के कारण गरीबों के लिए समस्याएं पैदा हो रही हैं।

उन्होंने कहा कि गरीब केवल ब्याज का भुगतान ही कर रहे हैं। उनके लिए ऋण चुका नहीं पाने से अपनी संपत्ति और घर सहित सब कुछ खोने की स्थिति बनी हुई है। माइक्रोफाइनांस से गरीबों को समस्या रही है। इनकी मदद के लिए अधिकारियों को सामने आना चाहिए। यदि संबंधित विभाग के अधिकारी इस पर रोक नहीं लगाते हैं तो हमें संबंधित विभाग के सामने प्रदर्शन करना पड़ेगा।

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