हुब्बल्ली में निर्माण कार्य की धीमी रफ्तार से जनता नाराज
70 प्रतिशत कार्य ही हुआ पूरा
व्यापारियों और राहगीरों की बढ़ती परेशानी पर प्रशासन मौन
हुब्बल्ली. शहर का यह फ्लाईओवर कभी शहर के विकास का प्रतीक माना जा रहा था, लेकिन अब यह लापरवाही और प्रशासनिक उदासीनता का उदाहरण बन गया है। जनता और व्यापारी वर्ग प्रशासन से जल्द कार्य पूरा करने की मांग कर रहे हैं, ताकि यातायात जाम और असुविधा से राहत मिल सके।
शहर के बहुप्रतीक्षित फ्लाईओवर निर्माण कार्य ने अब जनता के सब्र की परीक्षा लेना शुरू कर दी है। जून 2021 में शुरू हुई यह परियोजना मार्च 2026 तक भी पूरी होती नहीं दिख रही। राष्ट्रीय राजमार्ग लोकनिर्माण विभाग ने मजदूरों की कमी, बरसात और कानूनी अड़चनों को देरी का कारण बताया है।
तीन साल में सिर्फ 70 प्रतिशत कार्य
चन्नम्मा सर्कल से बसववन और पुराने कोर्ट सर्कल तक के मार्ग पर 19 अप्रेल से 20 अगस्त तक वाहनों का आवागमन बंद कर कार्य में तेजी लाने की कोशिश की गई थी। बावजूद इसके, तय समय सीमा के बाद भी केवल 70 प्रतिशत कार्य ही पूरा हो पाया है। अयोध्या होटल और मीठा भारत के सामने गर्डर लगाने का कार्य अब तक शुरू नहीं हुआ है।
व्यापारियों में रोष
पुराने बस स्टैंड के पास स्थित कपड़ा व्यापारी शिवानंद राजाराम ने नाराजगी जताते हुए कहा कि चार माह सडक़ बंद रही, फिर भी काम अधूरा है। अब आधी सडक़ खोल दी गई है, लेकिन बाकी हिस्सा अभी भी अधूरा पड़ा है। जनता और व्यापारियों की परेशानी नेताओं को समझ में नहीं आ रही।
विधायक का आश्वासन
विधायक महेश टेंगिनकाई ने बताया कि चन्नम्मा सर्कल के पास रोटर फ्लाईओवर के स्तंभ निर्माण का कार्य शुरू हो चुका है। मीठा भारत के सामने गर्डर लगाने का कार्य जल्द शुरू होगा। अस्थायी रूप से सडक़ों की मरम्मत और गड्ढों को भरने के निर्देश दिए गए हैं। डामर सडक़ों की गुणवत्ता खराब होने के कारण अब कंक्रीट सडक़ निर्माण का प्रस्ताव तैयार किया गया है, जिससे कार्य में कुछ और विलंब हुआ है।
ट्रैफिक जाम और दुर्घटनाओं की आशंका
ईदगाह मैदान, कामत होटल और होसूर सर्कल के पास पिलर निर्माण के कारण ट्रैफिक जाम बढ़ गया है। शाम के समय बस स्टैंड और चन्नम्मा सर्कल के आसपास पैदल चलना भी मुश्किल हो गया है। सडक़ों की खराब हालत के कारण दोपहिया वाहन चालक फिसल रहे हैं।
सामाजिक कार्यकर्ता श्रीधर कंदगल ने कहा कि जनप्रतिनिधि रोज इसी मार्ग से गुजरते हैं, फिर भी जनता की समस्या पर ध्यान नहीं दे रहे हैं, यह बेहद विडंबनापूर्ण है।
