हुब्बल्ली में पत्रकारों से बातचीत करते हुए श्रम एवं जिला प्रभारी मंत्री संतोष लाड।

मंत्री संतोष लाड ने सांसद डीके सुरेश के बयान पर जताई सहमति
हुब्बल्ली. श्रम एवं जिला प्रभारी मंत्री संतोष लाड ने दक्षिण भारत को अलग राष्ट्र बनाने के मुद्दे पर सांसद डी.के. सुरेश के बयान पर सहमति जताई है।
हुब्बल्ली में पत्रकारों से बातचीत करते हुए लाड ने कहा कि वे डी.के. सुरेश की बात से सहमत हैं। केंद्र को दिए जाने वाले टैक्स के पैसे में दक्षिण भारत और उत्तर भारत का हिस्सा कितना है सभी जानते हैं। इसके चलते दक्षिण भारत के टैक्स के पैसे से उत्तर भारत का विकास करने के विचार को लेकर मैं भी खिलाफ हूं। यही बात डीके सुरेशा ने भी कही है।
उन्होंने कहा कि हर दिन संविधान बदलने और संशोधन करने की बात करने वाले भाजपा नेताओं की सोच भी भारत को तोडऩे की है। इससे पहले भी कई लोगों ने उत्तर कर्नाटक को अलग राज्य बनाने की मांग की थी।  यह उनकी राय है। 2014 से पहले केंद्र सरकार दक्षिण भारत को जो अनुदान दे रही थी वह 2014 के बाद नहीं मिल रहा है। हमारी योजना देश के 80 करोड़ लोगों को चावल उपलब्ध कराने की है। पूर्व प्रधानमंत्री स्व. इंदिरा गांधी के समय खाद्य सुरक्षा कानून पारित होने के बाद से हम चावल दे रहे हैं परन्तु अब प्रधानमंत्री मोदी दावा कर रहे हैं कि वे चावल दे रहे हैं। हमारे कार्यकाल में विधवाओं, विकलांगों, वरिष्ठ नागरिकों के लिए मासिक पेशन निर्धारित हुई है। भाजपा ने क्या किया है इस बारे में चर्चा होनी चाहिए। मेक इन इंडिया नारे के तहत एक सुई तक नहीं बनाने वाली मोदी सरकार को कांग्रेस के बारे में बात करने की नैतिकता नहीं है।
लाड ने कहा कि लोगों को कांग्रेस या भाजपा से कोई मतलब नहीं है। उनकी कठिनाइयों का समाधान करना और आंसू पोंछना जरूरी है। कांग्रेस ने इस संबंध में पांच गारंटी योजनाएं दी हैं। इससे लोग खुश हैं। तकनीकी कारणों से केवल 4 फीसदी महिलाओं को मात्र गृहलक्ष्मी अनुदान नहीं मिला है। इन्हें भी योजना में शामिल करने के इरादे से एक बड़ा सम्मेलन आयोजित किया जाएगा।
पूर्व मुख्यमंत्री जगदीश शेट्टर के कांग्रेस में शामिल होने के दौरान उनके साथ कोई नहीं आया। जब कोई आ ही नहीं तो जाने का सवाल ही नहीं उठता। मैंने किसी को भी शेट्टर के साथ कांग्रेस में शामिल होने वालों को नहीं देखा। इसके चलते शेट्टर के पीछे कोई नहीं जाएगा।

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